चाय का चक्कर सुबह के 11 बजे अत्यंत बुजुर्ग ससुर ने आवाज दी, "बहू अभी तक चाय नहीं दी?’ बहू को मालूम था कि वे सवेरे 9 बजे ही चाय पी चुके हैं, फिर भी बोली, "जी अभी लाई पापा जी।’ बहू चाय ले आई, ससुर ने चाय पी ली। बहू ने खाली कप उठाया कि तभी ससुर जी फिर बोले, ‘आज चाय देर से क्यों दी?’ बहू : जी भूल गई थी। ससुर जी : हां तो अब कप में चाय लिए खड़ी क्यों हो। ये चाय दो न मुझे। आधा टिकट कंजूस मेवालाल अपने दोनों जवान लड़कों के साथ ट्रेन में सफर कर रहा था। टीटी को आता देख उसने दोनों लड़कों को सीट के नीचे छुपाया और उन पर चादर डालकर, आराम से बैठ गया। टीटी : हां भाईसाहब टिकट दिखाओ। मेवालाल : लो बाबूजी। टीटी : अरे भाईसाहब यह तो आधा टिकट है। मेवालाल : आधा मतलब? टीटी : एक बटा दो। मेवालाल : मतलब? टीटी : एक ऊपर, दो नीचे। मेवालाल ने तुरंत चादर खींची और बोला, ‘देखो, मैं एक ऊपर ये दो नीचे!
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